चंडीगढ़ (अंबाला कवरेज)। वर्ष 2014 में हुए लोकसभा चुनावों में नरेंद्र मोदी की अध्यक्षता में भाजपा ने कमाल किया और देश से कांग्रेस का सफाया कर दिया। वर्ष 2019 के लोकसभा चुनावोंमें भी कुछ ऐसे ही हालात रहे, लेकिन वर्ष 2018 में हुए राजस्थान के चुनावों में प्रदेश की जनता ने महारानी व भाजपा की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे के खिलाफ वोटिंग की और कांग्रेस के प्रदेशाध्यक्ष सचिन पायलट की अध्यक्षता मेंकांग्रेस ने चुनाव लड़ा। नतीजा यह रहा कि प्रदेश की जनता ने कांग्रेस को वोट देते हुए 200 विधानसभा वाले राजस्थान में से 101 कांग्रेसी उम्मीदवारों की जीत हुई और राजस्थान में कांग्रेस की सरकार बनी।
Ambala Today News : बॉलीवुड के महानायक अमिताभ बच्चन कोरोना पॉजिटिव, पढिए क्या बोले डॉक्टर्स
राजस्थान की वर्तमान की बात की जाए तो वहां पर राजस्थान कांग्रेस में बगावत से पहले कांग्रेस के पास 107 विधायक हैं, जिसमें से 6 विधायक बसपा केहैं, जोकि चुनावों के बाद कांग्रेस में विलय कर गए थे। जब से राजस्थान में कांग्रेस की सरकार बनी और सीएम अशोक गहलोत को बनाया गया, तब से सचिन पायलट और उसके समर्थको ंमेंअसंतुष्टि नजर आ रही थी। इसी बीच कईराजस्थान कांग्रेस में बगावत के कारण बार सचिन पायलट व मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के बीच में टकराव हुआ, लेकिन नतीजा नहीं निकला। चर्चाएंकी बात करें तो सचिन पायलट ने कांग्रेस में विरोध शुरू कर दिया और वह अपने साथ 30 विधायकों का समर्थन होने की बात कर रहे हैं। वहीं सोमवार को राजस्थान केसीएम अशोक गहलोत की अध्यक्षता मेंहुई विधायको ंकी बैठक में 90 से ज्यादा विधायक पहुंच गए हैं। ऐसे में सवाल यह है कि क्या सचिन पायलट का दावा झूठा है।
वहीं चर्चाओं की बात करें तो मध्यप्रदेश में कांग्रेस ने सरकार बनाई, लेकिन ज्योतिराज सिंधिया ने कांग्रेस में बगावत की और मध्यप्रदेश मेंकमल खिल गया। वहीं भाजपा नेसिंधिया को कांग्रेस तोड़ने का इनाम दिया और राज्यसभा में भेज दिया। इसी तरह अब सचिन पायलट को लेकर चर्चाएं चल रही हैकि वह भी भाजपा में शामिल हो सकते हैं, यह अलग बात है कि सचिन पायलट ने साफ कर दिया कि वह भाजपा में शामिल नहीं होंगे। राजस्थान कांग्रेस में बगावत के बाद सचिन पायलट ने साफ कर दिया कि वह भाजपा में नहीं जाएंगे और चर्चाएं चल रही है कि वह पार्टी बनाएंगे। ऐसे में वह पार्टी बनाकर बाहर से भाजपा को समर्थन देकर कांग्रेस का राज्य से सफाया कर सकतेहैं।
वहीं कांग्रेस के राष्टÑीय प्रवक्ता रणदीप सिंह सुर्जेवाला ने पत्रकारों से बातचीत करते हुए स्पष्ट कर दिया कि परिवार में कई बार मनमिटाव होतेहैं और सचिन पायलट को मना लिया जाएगा। राजस्थान कांग्रेस में बगावत के सवाल पर रणदीप सिंह ने कहा कि पिछले 48 घंटोंमें सचिन पायलट से कई बार चर्चा हुई और इस बिंदू पर बात हुई। रणदीप सिंह ने कहा कि उपपमुंख्यमंत्री राजस्थान सचिन पायलट को मना लिया जाएगा। साथ ही उन्होंने कहा कि राजस्थान व्यक्तिगत सपर्दा से बढ़ा है और राजस्थान उपपमुख्यमंत्री सचिन पायलट और मुख्यमंत्री अशोक गहलोत से बढ़ा है। उन्होंने कहा कि व्यक्तिगत को छोड़कर राजस्थान की भलाई के लिए काम करना होगा। इस सब के बीच कांग्रेस व भाजपा नेताओं के बीच आपसी बयाबाजी का दौड़ शुरू हो गया है।