अमित कुमार
अंबाला कवरेज @ अंबाला। सनातन धर्म महाविद्यालय के इंस्टीट्यूशन इनोवेशन काउंसिल ने नेशनल सर्विस स्कीम तथा इनर व्हील क्लब न्यू जेन अंबाला उत्कर्ष के सहयोग से “बेस्ट आउट ऑफ वेस्ट” प्रतियोगिता का सफल आयोजन 21 अप्रेल 2025 को किया। यह कार्यक्रम रचनात्मकता और नवाचार दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित किया गया, जिसमें छात्रों ने बेकार वस्तुओं से सुंदर और उपयोगी सामग्रियाँ बनाकर अपनी रचनात्मकता और नवाचार का परिचय दिया। इस प्रतियोगिता में कुल 25 प्रतिभागियों ने भाग लिया और अपने अनूठे विचारों से सभी को प्रभावित किया। छात्रों ने प्लास्टिक बोतलों, पुराने कागजों, खराब इलेक्ट्रॉनिक्स एवं अन्य अनुपयोगी वस्तुओं का प्रयोग कर नये उत्पाद तैयार किए, जो पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता का भी प्रतीक रहे। कार्यक्रम की शुरुवात में प्राचार्या डॉ. अल्का शर्मा ने अपने संबोधन में कहा इस प्रकार की प्रतियोगिताएं छात्रों में नवाचार की भावना को न केवल प्रोत्साहित करती हैं, बल्कि उन्हें पर्यावरण के प्रति जागरूक बनाती हैं। छात्रों की रचनात्मकता देखकर गर्व होता है। राष्ट्रीय सेवा योजना के संयोजक डॉ. मोहित बिंदलिश ने कहा बेस्ट आउट ऑफ वेस्ट जैसी गतिविधियाँ विद्यार्थियों के सामाजिक और पर्यावरणीय दायित्वों को विकसित करने का एक सशक्त माध्यम हैं। आई आई सी के संयोजक डॉ. प्रेम सिंह ने कहा नवाचार शिक्षा प्रणाली का अहम हिस्सा है। छात्रों ने यह साबित कर दिया कि सीमित संसाधनों में भी नए विचार और समाधान संभव हैं। आई डब्लू सी की संयोजक डॉ. नैंसी चोपड़ा ने कहा यह प्रतियोगिता न केवल रचनात्मकता को बढ़ावा देती है, बल्कि छात्रों के आत्मविश्वास और प्रस्तुतीकरण कौशल को भी मजबूत करती है। इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए डॉ आरती अरोड़ा, डॉ हीना, डॉ छवि किरण और प्रो. अंकुश ने भी अपना योगदान दिया। कार्यक्रम का उद्देश्य छात्रों में नवाचार, रचनात्मकता और सतत विकास की भावना को प्रोत्साहित करना था। आयोजकों ने प्रतिभागियों की सराहना करते हुए उन्हें भविष्य में और भी नवाचारों में भाग लेने के लिए प्रेरित किया।
अंबाला कवरेज @ अंबाला। सनातन धर्म महाविद्यालय के इंस्टीट्यूशन इनोवेशन काउंसिल ने नेशनल सर्विस स्कीम तथा इनर व्हील क्लब न्यू जेन अंबाला उत्कर्ष के सहयोग से “बेस्ट आउट ऑफ वेस्ट” प्रतियोगिता का सफल आयोजन 21 अप्रेल 2025 को किया। यह कार्यक्रम रचनात्मकता और नवाचार दिवस के उपलक्ष्य में आयोजित किया गया, जिसमें छात्रों ने बेकार वस्तुओं से सुंदर और उपयोगी सामग्रियाँ बनाकर अपनी रचनात्मकता और नवाचार का परिचय दिया। इस प्रतियोगिता में कुल 25 प्रतिभागियों ने भाग लिया और अपने अनूठे विचारों से सभी को प्रभावित किया। छात्रों ने प्लास्टिक बोतलों, पुराने कागजों, खराब इलेक्ट्रॉनिक्स एवं अन्य अनुपयोगी वस्तुओं का प्रयोग कर नये उत्पाद तैयार किए, जो पर्यावरण संरक्षण के प्रति जागरूकता का भी प्रतीक रहे। कार्यक्रम की शुरुवात में प्राचार्या डॉ. अल्का शर्मा ने अपने संबोधन में कहा इस प्रकार की प्रतियोगिताएं छात्रों में नवाचार की भावना को न केवल प्रोत्साहित करती हैं, बल्कि उन्हें पर्यावरण के प्रति जागरूक बनाती हैं। छात्रों की रचनात्मकता देखकर गर्व होता है। राष्ट्रीय सेवा योजना के संयोजक डॉ. मोहित बिंदलिश ने कहा बेस्ट आउट ऑफ वेस्ट जैसी गतिविधियाँ विद्यार्थियों के सामाजिक और पर्यावरणीय दायित्वों को विकसित करने का एक सशक्त माध्यम हैं। आई आई सी के संयोजक डॉ. प्रेम सिंह ने कहा नवाचार शिक्षा प्रणाली का अहम हिस्सा है। छात्रों ने यह साबित कर दिया कि सीमित संसाधनों में भी नए विचार और समाधान संभव हैं। आई डब्लू सी की संयोजक डॉ. नैंसी चोपड़ा ने कहा यह प्रतियोगिता न केवल रचनात्मकता को बढ़ावा देती है, बल्कि छात्रों के आत्मविश्वास और प्रस्तुतीकरण कौशल को भी मजबूत करती है। इस कार्यक्रम को सफल बनाने के लिए डॉ आरती अरोड़ा, डॉ हीना, डॉ छवि किरण और प्रो. अंकुश ने भी अपना योगदान दिया। कार्यक्रम का उद्देश्य छात्रों में नवाचार, रचनात्मकता और सतत विकास की भावना को प्रोत्साहित करना था। आयोजकों ने प्रतिभागियों की सराहना करते हुए उन्हें भविष्य में और भी नवाचारों में भाग लेने के लिए प्रेरित किया।
edited by alka rajput