ambala coverage news: नारायणगढ़ वि.स. हलका विधायक को अम्बाला सदर नगर परिषद का सदस्य मनोनीत करने बारे प्रदेश सरकार को लिखा

अमित कुमार
अंबाला कवरेज @ अंबाला।
11 सितम्बर 2019 को तत्कालीन मौजूदा संयुक्त अम्बाला नगर निगम में से सदर जोन  (कैंट)  क्षेत्र को बाहर कर उसके   लिए अलग अर्थात अम्बाला सदर नगर परिषद (न.प.) स्थापित  की गई  थी.  हालांकि 17 मार्च, 2010 से पहले भी अम्बाला सदर न.प.  हुआ करती   थी परन्तु उसके बाद इसे तत्कालीन अम्बाला शहर नगर परिषद के साथ जोड़कर  शहर और सदर (कैंट) दोनों क्षेत्रों   के लिए स्थापित संयुक्त  अम्बाला नगर निगम में शामिल कर दिया गया था. इस प्रकार 11 सितम्बर 2019 को अम्बाला नगर निगम से अलग किये जाने पर अम्बाला सदर न.प. का एक प्रकार से  नये सिरे से गठन हुआ था.  बहरहाल, गठन के साढ़े पांच वर्ष पश्चात गत माह मार्च, 2025 में  अम्बाला सदर न.प के आम चुनाव हुए  जिसमें प्रत्यक्ष तौर पर निर्वाचित होने वाले  अध्यक्ष (प्रेसिडेंट) का पद अनुसूचित जाति (एस.सी.) महिला वर्ग  के लिए आरक्षित था एवं चुनाव में  इस पर भाजपा उम्मीदवार स्वर्ण निर्वाचित हुईं. हाल ही में 16 अप्रैल को न.प. के उपाध्यक्ष (वाईस-प्रेसिडेंट) के चुनाव  पर भी अनुसूचित जाति वर्ग से ललिता प्रसाद, जो न.प के वार्ड 23 से भाजपा के निर्वाचित सदस्य (जिन्हें आम लोग पार्षद या म्युनिसिपल काउंसलर- एम.सी. कहते हैं हालांकि ये शब्द हरियाणा म्युनिसिपल कानून में नहीं) है, निर्वाचित हुए हैं. सनद रहे कि 16 अप्रैल अम्बाला सदर  न.प. सदन की बैठक में अम्बाला कैंट से भाजपा विधायक अनिल विज, जो प्रदेश की मौजूदा नायब सैनी सरकार में उर्जा, परिवहन और श्रम विभागों के कैबिनेट मंत्री  हैं, भी नव-निर्वाचित न.प सदन की बैठक में शामिल हुए चूँकि स्थानीय विधायक होने के फलस्वरूप  विज सदर न.प. के पदेन मनोनीत सदस्य भी हैं.

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इसी बीच  अम्बाला शहर निवासी पंजाब एवं हरियाणा हाई कोर्ट एडवोकेट और म्युनिसिपल कानून जानकार हेमंत कुमार ने हरियाणा के राज्यपाल, मुख्यमंत्री, शहरी स्थानीय निकाय विभाग के मंत्री, विभाग के आयुक्त एवं सचिव और महानिदेशक आदि  को लिखकर नारायणगढ़ के विधायक को भी अम्बाला सदर न.प. के  सदस्य के तौर पर मनोनीत (नॉमिनेट) करने अपील की है. उन्होंने  बताया कि हरियाणा म्युनिसिपल (नगरपालिका) कानून, 1973 जो प्रदेश की सभी  सभी नगरपालिका परिषदों (म्युनिसिपल काउंसिल ) और नगरपालिका समितियों (म्युनिसिपल कमेटी) पर लागू होता है की धारा 9 (3)(ii) के अनुसार  अनुसार प्रदेश सरकार द्वारा  सम्बंधित म्युनिसिपल ( निकाय ) क्षेत्र, जिस विधानसभा हलके एवं लोकसभा हलके के अंतर्गत पड़ता है,  वहां के निर्वाचित विधायक को उस न.प. के सदस्य के तौर पर मनोनीत किया जाता  है. अब चूँकि अम्बाला सदर न.प. का कुछ क्षेत्र जिले के नारायणगढ वि.स. के अंतर्गत पड़ता है, इसलिए वहां के विधायक भी इस आधार पर न.प. के सदस्य मनोनीत होने के लिए कानूनन योग्य है. इसी सन्दर्भ में हेमन्त ने यह भी बताया कि चूँकि अम्बाला शहर नगर निगम का कुछ क्षेत्र (जैसे मंडौर) वास्तव में अम्बाला कैंट वि.स. हलके में पड़ता है, अत: इसी आधार पर कैंट विधायक भी अम्बाला नगर निगम के मनोनीत सदस्य हैं एवं हरियाणा सरकार ने इस बारे में नोटिफिकेशन भी जारी कर रखा है हालांकि यह बात और है कि अनिल विज आजतक अम्बाला नगर निगम सदन की किसी बैठक में शामिल नहीं हुए लेकिन उन्हें सदन की बैठक आयोजित होने के बाद नोटिस युक्त सूचना अवश्य भेजी जाती है. हेमंत ने बताया कि हालांकि गत वर्ष 26 नवम्बर 2024 को हरियाणा सरकार के शहरी स्थानीय विभाग द्वारा प्रदेश के शासकीय गजट में प्रकाशित एक नोटिफिकेशन मार्फ़त अम्बाला कैंट विधायक को हरियाणा म्युनिसिपल कानून, 1973 की धारा 9 (3)(ii) के अंतर्गत  अम्बाला सदर न.प. के सदस्य के तौर पर मनोनीत किया गया हालांकि उसमें नारायणगढ़ के विधायक को सदस्य के तौर पर नोमिनेट नहीं किया गया. वहीं एक गजट नोटिफिकेशन मार्फ़त अम्बाला लोकसभा क्षेत्र से मौजूदा कांग्रेस सांसद वरुण चौधरी को भी उपरोक्त कानूनी धारा में अम्बाला सदर न.प. का  सदस्य मनोनीत किया गया. जहाँ तक हरियाणा से निर्दलीय  राज्यसभा संसद कार्तिकेय (कार्तिक) शर्मा का विषय है, तो वह अम्बाला नगर निगम के मनोनीत सदस्य तो हैं परन्तु वह अम्बाला सदर न.प. के सदस्य नहीं हो सकते क्योंकि वह अम्बाला शहर नगर निगम के अंतर्गत पड़ने वाले  मॉडल टाउन क्षेत्र में रजिस्टर्ड मतदाता है. यह पूछे जाने पर कि क्या स्थानीय  विधायक और  सांसद न.प. सदन का मनोनीत सदस्य होने के कारण  में सदन की बैठकों में मतदान कर सकता है, हेमंत ने बताया कि न.प. उपाध्यक्ष के पद पर निर्वाचन सम्बन्धी  और उसको पद से हटाने सम्बन्धी अविश्वास प्रस्ताव के अतिरिक्त अन्य विषयों पर स्थानीय  विधायक और  सांसद के वोट डालने पर कोई कानूनी प्रतिबन्ध नहीं है. हालांकि प्रदेश सरकार द्वारा म्युनिसिपल प्रशासन में विशेष ज्ञान और अनुभव रखने वाले तीन अन्य मनोनीत सदस्य न.प. सदन की बैठक में किसी भी विषय पर मतदान नहीं कर सकते.

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 edited by alka rajput

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