अमित कुमार
अंबाला कवरेज @ अंबाला। अंबाला के प्रतिष्ठित होंडा स्कूटर वाले संजीव स्वामी के परिवार से उनकी सुपुत्री खुशबू स्वामी ने के पी ए के स्कूल में दस जरूरतमंद बच्चों की पूरी वार्षिक फीस का चेक स्कूल के नाम देकर सेवा व दान की मिसाल दी है। यह उनका जरूरतमंद बच्चों की स्कूल फीस देने का दूसरा बड़ा प्रोजेक्ट है। उस समय साथ में अनुभव अग्रवाल एवं प्रियंका बंसल ( सुदर्शन परिवार ) भी रहे।प्रिंसिपल रेखा गोयल जी भी उपस्थित रहे जो इस स्कूल को चलाने में तन, मन, धन से सहयोग दे रहे हैं। इस पूरे प्रोजेक्ट की सबसे अच्छी बात यह थी कि इस सेवा में विशेष सहयोग ख़ुशबू स्वामी जो कि मात्र 26 वर्ष की है उसका रहा। यह सभी युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत है।आज का युवा जहां मोबाइल फोन या अन्य ऐसी गतिविधियों में व्यस्त हैं जिससे उनका जीवन अवनति की ओर जा रहा है।उन सबको समाज में ख़ुशबू बेटी से प्रेरणा लेनी चाहिए और उसकी तरह आगे बढ़कर जरुरतमंद बच्चों की शिक्षा में अपना योगदान देना चाहिए। स्वामी परिवार अन्य कईं स्कूल के जरूरतमंद बच्चों की शिक्षा के खर्च को वहन करने जा रहा है। अनुभव जी ने बताया कि सबसे बड़ा दान शिक्षा का दान है। अगर हम सब अन्य सेवा कार्यों से शिक्षा को अधिक महत्व देते हैं तो यह सुंदर समाज का निर्माण करने मे सहायक रहेगी। अंबाला में इस तरह के शिक्षा के प्रोजेक्ट समाजसेवकों द्वारा चलायें जायें तो अंबाला 100 % शिक्षित समाज की ओर अग्रसर हो सकता है।
अंबाला कवरेज @ अंबाला। अंबाला के प्रतिष्ठित होंडा स्कूटर वाले संजीव स्वामी के परिवार से उनकी सुपुत्री खुशबू स्वामी ने के पी ए के स्कूल में दस जरूरतमंद बच्चों की पूरी वार्षिक फीस का चेक स्कूल के नाम देकर सेवा व दान की मिसाल दी है। यह उनका जरूरतमंद बच्चों की स्कूल फीस देने का दूसरा बड़ा प्रोजेक्ट है। उस समय साथ में अनुभव अग्रवाल एवं प्रियंका बंसल ( सुदर्शन परिवार ) भी रहे।प्रिंसिपल रेखा गोयल जी भी उपस्थित रहे जो इस स्कूल को चलाने में तन, मन, धन से सहयोग दे रहे हैं। इस पूरे प्रोजेक्ट की सबसे अच्छी बात यह थी कि इस सेवा में विशेष सहयोग ख़ुशबू स्वामी जो कि मात्र 26 वर्ष की है उसका रहा। यह सभी युवाओं के लिए प्रेरणास्रोत है।आज का युवा जहां मोबाइल फोन या अन्य ऐसी गतिविधियों में व्यस्त हैं जिससे उनका जीवन अवनति की ओर जा रहा है।उन सबको समाज में ख़ुशबू बेटी से प्रेरणा लेनी चाहिए और उसकी तरह आगे बढ़कर जरुरतमंद बच्चों की शिक्षा में अपना योगदान देना चाहिए। स्वामी परिवार अन्य कईं स्कूल के जरूरतमंद बच्चों की शिक्षा के खर्च को वहन करने जा रहा है। अनुभव जी ने बताया कि सबसे बड़ा दान शिक्षा का दान है। अगर हम सब अन्य सेवा कार्यों से शिक्षा को अधिक महत्व देते हैं तो यह सुंदर समाज का निर्माण करने मे सहायक रहेगी। अंबाला में इस तरह के शिक्षा के प्रोजेक्ट समाजसेवकों द्वारा चलायें जायें तो अंबाला 100 % शिक्षित समाज की ओर अग्रसर हो सकता है।